इस लेख में हम आपको चावल की स्पेशल किस्म गोल्डन राइस के हेल्थ बेनिफिट्स और इसकी खेती के बारें में जानकारी देंगें

गोल्डन राइस एक जेनेटिक रूप से संशोधित चावल है जो विटामिन ए से भरपूर होता है। इसे 1990 के दशक में विकसित किया गया था और इसका उद्देश्य विटामिन ए की कमी से संबंधित दृष्टि हानि (visual impairment) और अन्य हेल्थ समस्याओं को कम करना था। भारत में, गोल्डन राइस की खेती अभी भी एक प्रारंभिक चरण में है, लेकिन कुछ राज्यों में इसे पायलट परियोजनाओं के रूप में उगाया जा रहा है।

गोल्डन राइस में बीटा-कैरोटीन की उच्च मात्रा होती है, जो एक पौधे से प्राप्त प्रोविटामिन ए है। शरीर में, बीटा-कैरोटीन को विटामिन ए में परिवर्तित किया जाता है, जो दृष्टि और अन्य स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है।

गोल्डन राइस के न्यूट्रीशन संबंधी लाभों में शामिल हैं:

दृष्टि में सुधार: गोल्डन राइस विटामिन ए से भरपूर होता है, जो दृष्टि के लिए आवश्यक है। विटामिन ए की कमी से रात का अंधापन(night blindness), मोतियाबिंद और अन्य दृष्टि संबंधी समस्याएं हो सकती हैं।

प्रतिरक्षा (इम्युनिटी )में वृद्धि: विटामिन ए प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए भी आवश्यक है। विटामिन ए की कमी से संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।

त्वचा और बालों की हेल्थ में सुधार: विटामिन ए त्वचा और बालों के स्वास्थ्य के लिए भी आवश्यक है। विटामिन ए की कमी से त्वचा और बालों की समस्याएं हो सकती हैं।

प्रजनन स्वास्थ्य में सुधार: विटामिन ए प्रजनन स्वास्थ्य के लिए भी आवश्यक है। विटामिन ए की कमी से बांझपन और अन्य प्रजनन समस्याएं हो सकती हैं।

गोल्डन राइस की खेती कैसे करें:

गोल्डन राइस की खेती पारंपरिक चावल की खेती के समान है। हालांकि, कुछ बातों का ध्यान रखना आवश्यक है:

गोल्डन राइस की खेती के लाभ:

गोल्डन राइस की खेती के कई लाभ हैं, जिनमें शामिल हैं:

 गोल्डन राइस विटामिन ए से भरपूर होता है, जो दृष्टि और अन्य स्वास्थ्य समस्याओं के लिए आवश्यक है।

 गोल्डन राइस की खेती से किसानों की आय में वृद्धि हो सकती है।

 गोल्डन राइस की खेती से खाद्य सुरक्षा में सुधार हो सकता है।

गोल्डन राइस की खेती के चुनौतियां:

गोल्डन राइस की खेती के कुछ चुनौतियां भी हैं, जिनमें शामिल हैं:

गोल्डन राइस की खेती का भविष्य:

गोल्डन राइस की खेती का भविष्य उज्ज्वल है। भारत में, गोल्डन राइस की खेती को और बढ़ावा दिया जा रहा है और इसे एक व्यावसायिक फसल के रूप में विकसित करने के प्रयास किए जा रहे हैं। गोल्डन राइस की खेती से भारत में विटामिन ए की कमी से संबंधित समस्याओं को कम करने में मदद मिल सकती है और किसानों की आय में भी वृद्धि हो सकती है।

यदि आप गोल्डन राइस के बारे में अधिक जानना चाहते हैं, तो कृपया अपने स्थानीय कृषि विज्ञान केंद्र से संपर्क करें।


यह भी पढ़ें