Update on:

in

by


लखनऊ : पीडबलयूडी और स्वास्थ्य विभाग के तबादलों में अनियमितता की शिकायतें तो बहुत मिलती रही हैं और कई अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई भी की जा चुकी है,अब अल्पसंख्यक कल्याण विभाग में भी एक प्रकरण ऐसा सामने आया है जिसमें तबादला नीति के उल्लंघन का आरोप लग रहा है।

तबादला नीति 2022 के शासनादेश में स्पष्ट निर्देश था कि भारत सरकार द्वारा चिन्हित उत्तर प्रदेश के आठ Aspirational Districts में किसी भी अधिकारी की सीट खाली ना रहे। यदि किसी अधिकारी का तबादला किया जाता है तो वहां नए अधिकारी की जबतक तैनाती न हो जाए तबतक पुराने अधिकारी को रिलीव न किया जाए । मगर अल्पसंख्यक कल्याण विभाग में जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारियों के तबादले के वक्त इस गाइडलाइन की अनदेखी की गई।बलरामपुर, सिद्धार्थनगर ,चंदौली, फतेहपुर, बहराइच, सोनभद्र ,श्रावस्ती,चित्रकूट(8 जिले) यूपी में एस्पिरेशनल डिस्ट्रिक्स के तौर पर चिन्हित हैं । बलरामपुर में तैनात रहे जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी पवन सिंह का तबादला वहां से कानपुर के लिए कर दिया गया मगर बलरामपुर में किसी विभागीय अधिकारी की तैनाती नहीं की गई। वहां जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी को अतिरिक्त प्रभार देकर अल्पसंख्यक कल्याण का भी कार्य कराया जा रहा है,जबकि पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी के पास पहले से ही दिव्यांग कल्याण विभाग का भी अतिरिक्त प्रभार है ।

आठ में से बाकी सात Aspirational districts में तो जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी तैनात हैं मगर सिर्फ बलरामपुर में नए अधिकारी की तौनाती नहीं की जा सकी, इस सिलसिले में जब विभागीय मंत्री धर्मपाल सिंह से बात की गई तो उन्होंने मामले का संज्ञान लेते हुए उचित निर्णय लेने का आश्वासन दिया ।

Published on :

यह भी पढ़ें



प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *